मुसलमानों के इलाज पर पाबंदी लगाने वाले मेरठ के एक अस्पताल के खिलाफ FIR दर्ज

नई दिल्ली , 19 अप्रैल । उत्तरप्रदेश के मेरठ के एक अस्पताल के खिलाफ़ मामला दर्ज किया गया है, अस्पताल ने स्थानीय अखबारों में विज्ञापन छपवाकर कहा था कि मुस्लिम समुदाय से जुड़ा जो व्यक्ति इलाज कराना चाहता है उसे अपना और अपने तीमारदार को कोरोना नेगेटिव होने का सर्टिफिकेट देना होगा ,तभी अस्पताल में उसका इलाज होगा । हालांकि मामलें को तूल पकड़ता देखकर अस्पताल ने एक दूसरा विज्ञापन देकर इसके लिए माफी मांग ली हैं ।
इस बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने " लिंक्डइन पोस्ट" पर लिखा हैं कि कोरोना धर्म और जाति नही देखता , इस चुनौती से निपटने के लिए एकता और भाईचारे की जरूरत हैं । कोरोना हमला करने से पहले धर्म , जाति, रंग ,भाषा और सीमाएं नही देखता ।
प्रधानमंत्री लिखते हैं , कोरोनावायरस ने पेशेवर लाइफ पूरी तरह से बदल दिया है. हमारा घर ही हमारा ऑफिस बन गया .इंटरनेट हमारा नया मीटिंग रूम हो चुका हैं । कुछ समय के लिए ऑफिस से सहयोगियों के साथ ब्रेक लेना गुजरे जमाने की बात हो गई हैं ।
प्रधानमंत्री ने कहा ,कोरोना काल को अवसर मानकर बिजनेस और जीवन शैली के ऐसे मॉडलोंपर विचार किया जाए जिन्हें अपनाना सरल और सहज हो इसके लिए अनुकूलता (एडाप्टबिलिटी), कार्यदक्षता ( एफिशियंसी), समावेशी( इनक्लूजिविटी), अवसर ( औपरच्यूनिटी) और सार्वभौमिकता( यूनिवर्सलिज्म) के पहुलओं पर काम करे ।